2018-05-15 15:21:00

चिली के धर्माध्यक्षों ने दुर्व्यवहार के प्रति दर्द और शर्मिंदगी व्यक्त की


वाटिकन सिटी, मंगलवार 15 मई 2018 (रेई) : संत पापा फ्राँसिस ने मंगल 15 मई को वाटिकन में चिली के धर्माध्यक्षों के साथ बंद दरवाजे के अंदर याजकों द्वारा यौन दुर्व्यवहार घोटाले की बारीकी से जांच पड़ताल करने के लिए सभा का आयोजन किया है। सभा में 31 धर्मप्रांतीय धर्माध्यक्ष और सहायक धर्माध्यक्ष तथा 3 सेवानिवृत धर्माध्यक्ष भी शामिल हैं। यह बैठक 17 मई तक चलेगा।

 बैठक की पूर्व संध्या को, चिली संत्यागो के महाधर्माध्यक्ष फर्नांडो रामोस और चिली धर्माध्यक्षीय सम्मेलन के महासचिव और संत बर्नार्डो के धर्माध्यक्ष जुआन इग्नासिओ गोंजालेस ने रोम में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित किया।

महाधर्माध्यक्ष फर्नांडो रामोस ने बताया कि 8 अप्रैल के पत्र में संत पापा फ्राँसिस ने चिली के सभी धर्माध्यक्षों को वाटिकन बुलाया जिससे कि माल्टा के महाधर्माध्यक्ष चार्ल्स स्किकलुना की अध्यक्षता में चिली के यौन दुर्व्यवहार घोटाले की 2 सदस्यीय तथ्य-खोज मिशन के बाद अपने व्यक्तिगत निष्कर्षों को साझा करेंगे और हाल के सप्ताहों में संत पापा को प्राप्त होने वाले कई लिखित और मौखिक साक्ष्य को भी साझा करेंगे। इन विनाशकारी घावों के लिए हम में से प्रत्येक की ज़िम्मेदारी तथा पर्याप्त और स्थायी परिवर्तनों का एक साथ अध्ययन करना और समझना है जिससे इन गलत कृत्यों को दोहराए जाने से रोका जा सके।

महाधर्माध्यक्ष रामोस ने धर्माध्यक्षों के "दर्द और शर्मींदगी" की भावना पर बात की। उन्होंने कहा कि उन्हें गहरा दर्द महसूस होता है क्योंकि "दुर्भाग्य से ऐसे लोग हैं जो दुर्व्यवहार के पीड़ित हैं और शर्म की बात है क्योंकि ये दुर्व्यवहार कलीसिया और पल्ली के धार्मिक वातावरण में हुए थे, जहां कि दुर्व्यवहार कभी नहीं होना चाहिए था।"

क्षमा और मरम्मत

महाधर्माध्यक्ष रामोस ने आगे कहा: "हमें 70 गुणा 7 बार क्षमा मांगनी चाहिए। मुझे लगता है कि यह हमारे लिए बहुत ही महत्वपूर्ण एवं नैतिक रुप से अनिवार्य है। महत्वपूर्ण बात यह है कि माफी का अनुरोध करना वास्तव में मरम्मत करना है।" उन्होंने कहा कि हम सभी विनम्रता पूर्वक संत पापा की बातों को सुनेंगे। चिली की कलीसिया के नवीनीकरण के लिए यह "एक बहुत ही महत्वपूर्ण क्षण" है।

चिली धर्माध्यक्षों के लिए संत पापा फ्राँसिस एक उदाहरण हैं

धर्माध्यक्ष गोंजालेस ने कहा कि चिली के धर्माध्यक्ष अपनी गलतियों को स्वीकार करने, क्षमा मांगने और पीड़ितों से मिलने के लिए संत पाप फ्राँसिस को एक उदाहरण के रूप में देखते हैं। उन्होंने कहा,“ पीड़ित हमारे ध्यान का केंद्र हैं और इसी कारण से चिली में कलीसिया को येसु के शिक्षा का अनुसरण करते हुए नम्रता और आशा के साथ मरम्मत की दिशा में काम करनी चाहिए।








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