2018-03-06 11:28:00

काश्मीर के मुसलमानों ने किया सिरिया में हिंसा का विरोध


काश्मीर, मंगलवार, 6 मार्च 2018 (ऊका समाचार): भारत के कश्मीर क्षेत्र में सैकड़ों मुसलमानों ने सीरिया की सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर उसे सरकारी बलों और विद्रोहियों के बीच लड़ाई का ज़िम्मेदार ठहराया है जिसमें हाल के दिनों में 600 से ज्यादा नागरिक मारे गये हैं।

दमिश्क के निकटवर्ती गूता में विगत दो सप्ताहों के दौरान हुए हवाई हमलों में 674 नागरिकों के हताहत हो जाने के बाद विरोध प्रदर्शन करनेवालों ने 4 मार्च को बशर अल-असद सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।

अपने फेसबुक पृष्ठ पर विरोधकर्त्ता इरशाद अहमद ने कहा, "हमें इस नंगी बर्बरता के खिलाफ आवाज उठाने की ज़रूरत है। निर्दोष बच्चों की हत्या इतनी देर तक सहन नहीं की जा सकती। गहरी नींद से जागने तथा असद शासन के बर्बर कृत्यों की निन्दा करने का समय आ गया है।"

सिरिया में अंधाधुंध हवाई बमबारी की अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर निंदा की गई है किन्तु 24 फरवरी को संयुक्त राष्ट्र संघीय सुरक्षा परिषद के सदस्यों की सर्वसम्मति से घोषित 30 दिवसीय युद्धविराम विफल होता नज़र आ रहा है।  

सड़क पर विरोध प्रदर्शनों के अलावा, जम्मू और कश्मीर के विश्वविद्यालयीन छात्रों ने श्रीनगर के केंद्रीय बाजार में इकट्ठा होकर सीरिया में हत्याओं के खिलाफ मोमबत्ती जुलूस निकाला।

नजमू साक़िब नामक छात्र ने ऊका समाचार से कहा, "दशकों से संयुक्त राष्ट्र संघ कश्मीर में हिंसा पर चुप रहा है और अब वह सिरिया में हिंसा पर चुप है। हमारा शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन विश्व मंचों के लिये एक सन्देश है कि मानवता के विरुद्ध अपराध करनेवालों पर कड़ी कार्रवाई की जाये।"








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