2018-01-24 15:34:00

संत पापा द्वारा दावोस में नेताओं को जन कल्याण हेतु आह्वान


दावोस, बुधवार 24 जनवरी 2018, (वीआर,रेई) : स्वीटजरलैंड के दावोस शहर में चल रहे विश्व आर्थिक मंच यानी वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम की 48वीं सालाना बैठक में स्विस काथलिक धर्माध्यक्षीय सम्मेलन भाग ले रही है। न्याय और शांति हेतु गठित धर्माध्यक्षीय सम्मेलन के अध्यक्ष ने प्रतिभागियों को संत पापा फ्राँसिस के संदेश की प्रासंगिकता के बारे में बताया।

23 से 26 जनवरी तक चल रहे विश्व आर्थिक मंच में विश्वास-आधारित संगठनें भी भाग ले रहे हैं और अपने विचार साझा कर रहे हैं।

न्याय और शांति हेतु गठित धर्माध्यक्षीय सम्मेलन के अध्यक्ष और सचिव धर्माध्यक्ष वुल्फगॉग बुर्सटाइन ने वाटिकन समाचार को बताया कि संत पापा का नैतिक नेतृत्व दावोस में वार्ता के लिए एक महत्वपूर्ण दिशा देता है।

धर्माध्यक्ष बुर्सटाइन ने कहा कि संत पापा के संदेश न केवल कलीसिया के नजरिए से अत्यंत महत्वपूर्ण है परंतु जैसा कि इस वर्ष के लिए फोरम द्वारा चुना गया विषय "एक विघटित दुनिया में एक साझा भविष्य बनाना" है, वास्तव में संत पापा के संदेश के बहुत करीब है।

उन्होंने कहा कि "वे यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि प्रतिभागियों को यह नहीं भूलना चाहिए कि सभी अर्थनीति जन कल्याण की सेवा के लिए होनी चाहिए।"

धर्माध्यक्ष बुर्स्टाइन के अनुसार जन कल्याण का मतलब न केवल बड़े जीडीपी या बेहतर आर्थिक प्रदर्शन प्राप्त करना है लेकिन इसका अर्थ "सभी लोगों का समाज और आर्थिक व्यवस्था में अधिक से अधिक सहभागी होना है।"

संत पापा इसे "अभिन्न मानव विकास" कहते हैं, जिसमें नौकरी करने के अलावा बहुत कुछ होता है, अपने परिवार को खिलाने के लिए पैसा होता है इत्यादि ...

 एक नैतिक प्राधिकारी के रूप में संत पापा फ्राँसिस की आशा है कि दावोस की बैठकों में उनकी आवाज़ पर ध्यान दी जाये।

विदित हो स्वीटजरलैंड के दावोस शहर में वर्ल्ड इकोनॉमिक फ़ोरम में बीते कई साल से कारोबारी, सरकारें और सिविल सोसाइटी के नेता वैश्विक मुद्दों पर चर्चा के लिए हर वर्ष जनवरी महीने में जुटते हैं और वर्तमान चुनौतियों से निपटने के लिए समाधानों पर विचार करते हैं।








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