2016-07-23 16:30:00

इस्लामी स्टेट के लिए ईसाई युवाओं की भर्ती करने का आरोपी गिरफ्तार


मुम्बई, शनिवार, 23 जुलाई 2016 (उकान): मुम्बई में बृहस्पतिवार को कथित तौर पर चरमपंथी बनाने और इस्लामी स्टेट (आईएस) के लिए युवाओं की भर्ती करने के आरोप में, इस्लामिक रिसर्च फाउंडेशन के एक कर्मचारी अर्शिद क्वरेशी को केरल के पुलिस एवं महाराष्ट्र आतंकवाद निरोधक दस्ते के एक दल ने गिरफ्तार कर लिया है। 

उन्हें गैरकानूनी गतिविधि अधिनियम के तहत मुम्बाई के नेरूल से गिरफ्तार किया गया है तथा केरल ले जाया गया है जहाँ उन्हें कोच्चि अदालत के सामने पेश किया जाएगा।

ऊका समाचार के अनुसार इस्लामिक रिसर्च फाऊन्डेशन के संस्थापक एवं विवादास्पद इस्लामी उपदेशक डॉ. जाकिर नाईक पर भी आतंकवादी गतिविधियों में लिप्त होने की जाँच चल रही है। वे प्रकाश में तब आये जब हाल में ढांका के एक कॉफी दुकान में हुए हमले के दो अभियुक्तों ने यह दावा किया था कि वे उपदेश द्वारा आमंत्रित किये गये थे।

45 वर्षीय अर्शिद पर संदेह तब किया गया जब काच्चि के पालारिवोत्तम पुलिस स्टेशन पर शिकायत दर्ज की गयी कि पालाक्काद के भिन्सेंट नामक एक ख्रीस्तीय ने इस्लामी धर्म स्वीकार कर लिया है तथा आईएस में शामिल हो चुका है। वह कोच्चि से अपनी पत्नी मेरिन जेकब के साथ गायब है। शिकायत मेरिन के भाई एबिन जेकब ने की है।

जेकब का मानना है कि उसकी बहन ने भिन्सेंट एवं अर्शिद के बहकावे में आकर इस्लाम धर्म स्वीकार किया है।

पुलिस सूत्रों ने बताया कि ख्रीस्तीय परिवार से आने वाली मेरिन अपने पति से काम करते समय मुम्बई में 2015 में मिली थी। यद्यपि शुरू में उसने इस्लाम धर्म अस्वीकार किया किन्तु बाद में राज़ी हो गयी।

एबिन ने कहा कि उसकी बहन कुछ हद तक केरल वापस आना चाहती है जहाँ उसका परिवार है किन्तु अब वह आईएस में शामिल होने के लिए मजबूर है।

कथित तौर पर भिन्सेंट एवं मेरिन के माता-पिता मानते है कि वे नाईक द्वारा कट्टरपंथी बनाये गये हैं जिनसे उन्होंने मुम्बई में मुलाकात की थी।

पुलिस के अनुसार 2009 में जब डॉ. नाईक ने एक बड़े पैमाने पर सार्वजनिक सम्मेलन का आयोजन किया था, तब अर्शिद सार्वजनिक संबंध प्रबंधक हेतु जिम्मेदार था।








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